अगर आप बार-बार होने वाले बुखार से परेशान हो तो अपनाये ये आयुर्वेदिक उपचार
🥗सशमनि वटी 10 ग्राम
🥗गोदंती भस्म 5 ग्राम
🥗 प्रवाल पिष्टी 5 ग्राम
🥗गिलोय सत्व 10 ग्राम
🥗लाल फिटकरी भस्म 5 ग्राम
इन सबको मिलाकर 40 पुड़िया बनाकर दिन में तीन बार 1-1-1 पुड़िया। अमृतारिष्ट 4-4 चम्मच जल में मिलाकर दें। हल्का सुपाच्य भोजन दें। कुछ दिन में बुखार आना बंद हो जाएगा।
( वैद्य राहुल गुप्ता )
8849071641
बार-बार बुखार आने का कारण कुछ भी हो सकता है। कुछ प्रमुख कारण प्रखर होते हैं:
1. बैक्टीरियल या वायरल इन्फेक्शन:
ये सबसे आम कारण होते हैं। जैसे कि फ्लू (इन्फ्लूएंजा), डेंगू, मलेरिया, टाइफाइड, निमोनिया, मूत्र पथ संक्रमण (यूटीआई), और अन्य जीवाणु या वायरल संक्रमण।
2. इम्यून सिस्टम का कामज़ोर होना:
अगर प्रतिरक्षा का सिस्टम कमज़ोर है, तो वो संक्रमण के प्रति अधिक प्रवण होता है। इसमें एचआईवी/एड्स, कैंसर, या अन्य प्रतिरक्षा प्रणाली को प्रभावित करने वाली बीमारी शामिल है।
3. एलर्जी:
किसी भी पदार्थ या एलर्जी के संपर्क में आने से बुखार आना भी हो सकता है।
4. ऑटोइम्यून विकार:
कभी-कभी शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली अपने उच्च कोशिकाओं पर हमला कर सकती है, जैसे ऑटोइम्यून विकार कहते हैं। इसे बुखार भी हो सकता है.
5. अंतःस्रावी विकार:
जैसे की थायराइड की समस्या या मधुमेह, इनको भी बुखार हो सकता है।
6. कुछ और चिकित्सीय स्थितियाँ:
जैसे कि तपेदिक, आमवाती बुखार, या किसी अन्य आंतरिक संक्रमण।
7. पर्यावरणीय कारक:
अत्यधिक तापमान, निर्जलीकरण, प्रदूषण भी बुखार का कारण हो सकता है।
8. तनाव या चिंता:
कभी-कभी तनाव या चिंता के कारण भी बुखार आ सकता है।
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